मध्य प्रदेश

गरीबी से करोड़ों के विवाद तक: जानें ग्वालियर के कुक रविंद्र सिंह की संघर्ष भरी कहानी

ग्वालियर 
मध्य प्रदेश के ग्वालियर से एक हैरान कर देने वाला मामला सामने आया है. यहां एक होटल में काम करने वाले कुक हेल्पर रविंद्र सिंह चौहान को आयकर विभाग ने 46 करोड़ रुपए का नोटिस भेज दिया. जबकि रविंद्र सिंह चौहान की सैलरी महज 8 से 10 हजार रुपए है. अचानक इतने बड़े नोटिस ने उनकी जिंदगी उलट-पुलट कर दी है. रविंद्र सिंह चौहान को समझ ही नहीं आया कि ये सब आखिर हुआ कैसे?

दरअसल, भिंड के रहने वाले रविंद्र सिंह चौहान का कहना है कि वह सिर्फ खाना बनाने का काम करते हैं. उनके अकाउंट में कभी सालभर में तीन लाख रुपए का लेन-देन भी नहीं हुआ, लेकिन उनके नाम से 46 करोड़ रुपए का ट्रांजेक्शन दिखाया गया. रविंद्र सिंह चौहान ने भिंड स्थित पंजाब नेशनल बैंक से अपने खाते का पिछले पांच वर्षों का बैंक स्टेटमेंट निकलवाया. स्टेटमेंट में कुल लेन-देन तीन लाख रुपये से भी कम पाया गया, जो उन्हें काफी अजीब लगा. इस संदेह के चलते उन्होंने बैंक मैनेजर से मामले की गहराई से जांच कराने के लिए कहा.

फर्जी खाता और करोड़ों का लेनदेन
जांच के दौरान चौंकाने वाला खुलासा हुआ ये हुआ कि रविंद्र सिंह चौहान के नाम से दिल्ली के उत्तम नगर में एक और खाता मौजूद था और हैरान करने वाली बात ये थी कि उस खाते में अभी भी 12.5 लाख रुपये जमा हैं. जांच में सामने आया कि टोल कंपनी में काम करने के दौरान उनके सुपरवाइजर ने पीएफ के नाम पर उनके कागज लेकर फर्जी अकाउंट खुलवा दिया था. इसी खाते से करोड़ों का लेन-देन हुआ.

हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया
रविंद्र सिंह चौहान ने थाने और एजेंसियों से शिकायत की, लेकिन कोई मदद नहीं मिली. अब उन्होंने ग्वालियर हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया है. इस मामले में यह भी सामने आया है कि रविंद्र के नाम पर भिंड और दिल्ली में दो खाते खुले हुए हैं, जिनमें से दिल्ली वाला खाता एक ट्रेडिंग कंपनी से जुड़ा हुआ है. अब देखना यह होगा कि हाईकोर्ट से उसे आयकर विभाग के इस भारी-भरकम नोटिस से राहत मिलती है या नहीं.

 

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