एसडीओपी सक्ती शोभराज अग्रवाल द्वारा प्रार्थी पक्ष के साथ अभद्र व्यवहार का मामला
जांजगीर-चांपा
जिला पंचायत सदस्य उमा राजेन्द्र राठौर ने कहा कि जिले में सफेदपोश लोगों के संरक्षण में जिला जांजगीर-चांपा में पुलिस के आला अधिकारियों का जिनका गृह जिले में पद स्थापना हुआ है उन्हें जनता के दुख दर्द से कोई सरोकार नहीं है। जिला पंचायत सदस्य ने बताया कि जब पीडि़त व्यक्ति थाने में पहुंचता है तो अपराधियों को संरक्षण दे रहे अधिकारी स्वयं थाना पहुंच जाते हैं और प्राथमिकी तक दर्ज करने पर आनाकानी करते हैं और तथ्यों को छेड़छाड़ कर वास्तविकता से दूर प्रार्थी के बताएं घटनाक्रम को नजरअंदाज कर अपराधियों को बचाने गंभीर घटना तक की मामूली घटना में तब्दील कर रिपोर्ट दर्ज की जाती है और यदि उस पर इसी तरह का विरोध दर्ज किया जाता है तब अधिकारी विरोध दर्ज करवाने वाले के साथ बदसलूकी तक में उतर आते हैं। इस तरह के गंभीर आरोप पुलिस पर लगाते हैं उमा राजेन्द्र राठौर ने दिनांक 13 -8- 2020 को नगर थाने में सुश्री उत्तरा राठौर द्वारा छेड़छाड़ की घटना की रिपोर्ट और उस दौरान हुए घटनाक्रम के तारतम्य में कहीं जिसकी लिखित शिकायत पुलिस अधीक्षक जांजगीर और महा पुलिस निर्देशक छत्तीसगढ़ शासन रायपुर सांसद गुहाराम अजगले विधायक नारायण चन्देल तक को की गई है
क्या है मामला…
जिला पंचायत सदस्य श्रीमती उषा राजेन्द्र राठौर अपनी बहन उत्तरा राठौर पिता कौशल प्रसाद राठौर निवासी कचंदा के साथ गांव के कुछ लेागों द्वारा छेड़छाड़ किये जाने की रिपोर्ट दर्ज कराने अपनी बहन व पति के साथ नगरदा थाना पहुंची थी। घंटो बीत जाने के बाद देर शाम को रिपोर्ट दर्ज की गई जिसमें छेड़ छाड़ की जगह केवल विवाद की बात का ही जिक्र किया। उक्त विषय पर जब जिला पंचायत सदस्य के पति ने आपत्ती दर्ज करायी तो वहां सक्ती अनुविभागीय अधिकारी पुलिस शोभराज अग्रवाल द्वारा जिला पंचायत सदस्य से अभद्र व्यवहार करते हुए उनके पति को धक्का मार कर थाने स बाहर निकाल दिया गया था।