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अयोध्या में चौराहों पर लगाए गए हाइटेक कैमरे, इंटेलिजेंट ट्रैफिक मैनेजमेंट सिस्टम लागू

अयोध्या
उत्तर प्रदेश सरकार ने शहर के यातायात को सुव्यवस्थित करने और सड़क सुरक्षा में सुधार के लिए अयोध्या में इंटेलिजेंट ट्रैफिक मैनेजमेंट सिस्टम (आईटीएमएस) लागू किया है. इस प्रणाली के तहत प्रमुख स्थानों पर आधुनिक ट्रैफिक लाइट और हाइटेक निगरानी कैमरे लगाए गए हैं, जिससे वास्तविक समय की निगरानी और यातायात उल्लंघन के लिए चालान स्वचालित रूप से जारी करना संभव हो गया है.

गुरुवार को एक आधिकारिक बयान के अनुसार, 47 करोड़ रुपये की आईटीएमएस परियोजना 2022 में शुरू की गई थी, जिसके पहले चरण का उद्घाटन मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने किया था. अब तक अयोध्या में 20 प्रमुख चौराहों पर ट्रैफिक लाइट लगाई जा चुकी हैं, साथ ही यातायात नियमों का सख्ती से पालन कराया जा रहा है.

आईटीएमएस के तहत लगाए गए कैमरे लाल बत्ती कूदने या बिना हेलमेट के वाहन चलाने जैसे उल्लंघनों को रिकॉर्ड करते हैं, जिसके आधार पर डिजिटल चालान अपने आप जेनरेट हो जाते हैं. अधिकारियों के अनुसार, इस प्रणाली के तहत कुल 36,555 चालान जारी किए गए हैं, जिसने मंदिर नगरी में सड़क अनुशासन को बढ़ावा देने में महत्वपूर्ण योगदान दिया है. यातायात प्रबंधन के अलावा, आईटीएमएस कैमरों ने पूरे शहर में निगरानी और सुरक्षा को मजबूत किया है.  

न्यूज एजेंसी के मुताबिक, अधिकारियों ने कहा कि एकत्र किए गए डेटा से पुलिस को अपराध नियंत्रण और भीड़ प्रबंधन में मदद मिल रही है. इस साल की शुरुआत में प्राण-प्रतिष्ठा समारोह के दौरान चालान अभियान शुरू हुआ और अब तक कुल 3.66 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया जा चुका है. शहर के अधिकारियों द्वारा उपलब्ध कराए गए आंकड़ों के अनुसार, इसमें से 12.35 लाख रुपये पहले ही वसूले जा चुके हैं. जबकि सभी 20 चयनित चौराहों पर लाइटें लगाई गई हैं, वर्तमान में केवल 14 स्थानों पर ही संचालन सक्रिय है. चल रहे निर्माण कार्य के कारण, शहादतगंज बाईपास, शांति चौक, साकेत पेट्रोल पंप, हनुमान गुफा और देवकाली बाईपास पर सिग्नल अस्थायी रूप से काम नहीं कर रहे हैं.

अयोध्या नगर आयुक्त संतोष शर्मा ने कहा कि आईटीएमएस ने सड़क दुर्घटनाओं को कम करने में मदद की है, इसके लागू होने के बाद से अब तक कोई घटना सामने नहीं आई है. उन्होंने कहा, "तीर्थयात्री और आगंतुक अब सुरक्षित और सुव्यवस्थित यातायात प्रणाली का लाभ उठा रहे हैं. पहले ट्रैफिक जाम के लिए जाने जाने वाले क्षेत्र अब काफी हद तक जाम से मुक्त हैं."

 

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