मध्य प्रदेश

लोकमाता देवी अहिल्याबाई होल्क की 300वीं जन्म जयंती पर प्रधानमंत्री मोदी ने वर्चुअल माध्यम से किया उद्घाटन

भोपाल  
इंदौर ने आज आधुनिकता की नई पटरी पर कदम रखा। मध्यप्रदेश की आर्थिक और सांस्कृतिक राजधानी अब मेट्रो ट्रेन प्रणाली से जुड़ चुकी है। प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने भोपाल से वर्चुअल माध्यम से इंदौर मेट्रो परियोजना के पहले चरण का उद्घाटन किया। इस मौके पर राज्यपाल श्री मंगुभाई पटेल, मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव भी विशेष रूप से मौजूद थे। लोकमाता देवी अहिल्याबाई की 300 वीं जन्म जयंती के पावन अवसर पर इंदौर में शुरू हुए मेट्रो रेल परियोजना के शुभारंभ के इस ऐतिहासिक अवसर पर इंदौर में उत्सव जैसा माहौल रहा, जिसमें नागरिकों विशेष कर महिलाओं ने बढ़-चढ़कर भाग लिया। यह समारोह महिलाओं पर विशेष रूप से केंद्रित था।

इंदौर में आयोजित समारोह में केंद्रीय शहरी विकास एवं आवास मंत्री श्री तोखन साहू,  नगरीय विकास एवं आवास मंत्री श्री कैलाश विजयवर्गीय, सांसद श्री शंकर लालवानी,  महापौर श्री पुष्यमित्र भार्गव, विधायक श्री रमेश मेंदोला, श्री मधु वर्मा, श्री गोलू शुक्ला सहित अन्य जनप्रतिनिधि और मध्यप्रदेश मेट्रो रेल कॉरपोरेशन के अध्यक्ष श्री जयदीप विशेष रूप से मौजूद थे।  विशेष बात यह रही कि यह परियोजना देवी लोक माता अहिल्याबाई होल्कर की 300वीं जयंती के पावन अवसर पर शुरू की गई और पूरी तरह से महिलाओं को समर्पित रही। इससे न केवल इंदौर शहर के विकास को एक नई दिशा मिली है, बल्कि यह पहल महिला सशक्तिकरण की दृष्टि से भी एक महत्वपूर्ण है।

आधुनिक नगरों की सूची में शामिल इंदौर
मेट्रो परियोजना के शुभारंभ ने इंदौर को देश के उन आधुनिक नगरों की सूची में शामिल कर दिया है, जहां भविष्य की परिवहन प्रणाली अब हकीकत बन चुकी है। यह परियोजना न केवल यातायात की भीड़ को कम करेगी, बल्कि पर्यावरण संरक्षण की दिशा में भी अहम भूमिका निभाएगी।

तांगे से मेट्रो तक: एक ऐतिहासिक सफर
इंदौर का सार्वजनिक परिवहन व्यवस्था का इतिहास तांगे, टेम्पो, वेन और मिनी बसों से शुरू होकर अब अत्याधुनिक मेट्रो तक पहुंचा है। यह केवल तकनीकी बदलाव नहीं, बल्कि शहर की समग्र प्रगति का प्रतीक है।

महिलाओं के लिए विशेष सुविधाएं
इस परियोजना को महिलाओं को समर्पित किया गया है। जिसमें मुख्य रूप से प्रत्येक स्टेशन पर महिला सुरक्षा बल (महिला गार्ड्स) की तैनाती रहेगी। मेट्रो डिब्बों में आरक्षित कोच रहेगा और सीसीटीवी से निगरानी रहेगी। टिकट वितरण और स्टेशन प्रबंधन में महिला कर्मचारियों की विशेष भागीदारी होगी। गर्भवती महिलाओं और बुजुर्ग महिलाओं के लिए विशेष सीट आरक्षण और सहायता सुविधा उपलब्ध रहेगी।

नागरिकों की प्रतिक्रिया: उत्साह और उम्मीदों से भरी
शहरवासियों ने इस ऐतिहासिक पल पर अपनी भावनाएं खुलकर व्यक्त कीं। सुश्री ज्योति शर्मा का कहना है कि अब हमें कॉलेज आने-जाने में बहुत सहूलियत होगी, ट्रैफिक और ऑटो वालों की मनमानी से मुक्ति मिलेगी। निजी कंपनी में काम करने वाले श्री सुनील चौहान ने बताया कि मेट्रो से समय की बचत होगी और ऑफिस पहुंचना अब ज्यादा भरोसेमंद रहेगा। इंदौर का भविष्य बहुत उज्ज्वल लग रहा है। आम गृहिणी उमा बाई ने कहा कि लोकमाता देवी अहिल्याबाई होल्कर जैसी महान महिला की जयंती पर यह मेट्रो शुरू हुई, यह हम महिलाओं के लिए गर्व की बात है। कॉलेज छात्रा सुश्री यामिनी गौड़ ने कहा कि मैने कभी नहीं सोचा था कि इंदौर में मेट्रो चलेगी। लेकिन राज्य सरकार ने इसे साकार कर दिखाया। यह सौगात मिलने से में बहुत खुश हूं। गृहिणी किरण दुबे ने बताया कि आज मुझे बहुत अच्छा लग रहा है। कि अब मेरे शहर इंदौर की गिनती भी मेट्रो शहर के रूप में हो गई है। इंदौर की पहचान अभी तक स्वच्छता में थी। अब मेट्रो के रूप में एक और मुकुट जुड़ेगा। इंजीनियर सुश्री नताशा बिल्लोरे ने कहा कि अब तक इंदौर में आईआईएम, आईआईटी जैसे देश के प्रतिष्ठित शिक्षा संस्थान थे, अब उसमें एक और राष्ट्रीय स्तर की परिवहन सुविधा जुड़ गई है। बेशक इससे इंदौर का नाम राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर चमकेगा। दिव्यांग युवती सुश्री पूजा शर्मा मेट्रो ट्रेन शुरू होने से बेहद उत्साहित है। लगभग 10 किलो मीटर का सफर अपने भाई के साथ तय कर इस ऐतिहासिक अवसर का साक्षी बनने के लिये कार्यक्रम में पहुंची। उसका कहना था कि हम दिव्यांगों को परिवहन के लिये इससे बड़ी और कोई सौगात नहीं होगी। 

हरित भविष्य की ओर कदम
मेट्रो परियोजना पर्यावरण संरक्षण की दिशा में भी महत्वपूर्ण पहल है। इससे डीज़ल और पेट्रोल वाहनों की निर्भरता कम होगी और वायु प्रदूषण में उल्लेखनीय गिरावट आएगी। इंदौर, जो पहले से ही स्वच्छता में नंबर एक है, अब हरित परिवहन की दिशा में भी अग्रणी बन रहा है। इंदौर मेट्रो न केवल एक शहरी सुविधा है, बल्कि यह शहर की सांस्कृतिक विरासत, तकनीकी उन्नति और सामाजिक समानता का प्रतीक बनकर उभरी है। प्रधानमंत्री श्री मोदी की "नारी शक्ति" और "नए भारत" की कल्पना को अर्थ देने वाली यह परियोजना आने वाले वर्षों में इंदौर को वैश्विक स्मार्ट सिटी की सूची में मजबूती से स्थापित करेगी।
 

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